उत्तराखंड कांग्रेस चुनाव संचालन समिति के अध्यक्ष एवं उत्तराखंड राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत आज देर शाम काशीपुर पहुंचे। हरीश रावत का काशीपुर पहुंचने पर पार्टी पदाधिकारियों और कार्यकर्ताओं ने जोरदार स्वागत किया। काशीपुर में उन्होंने काशीपुर रामनगर रोड स्थित एक होटल में प्रेस वार्ता की।
प्रेस वार्ता के दौरान हरीश रावत ने कहा कि आगामी होने वाले विधानसभा चुनाव में काशीपुर के ही कार्यकर्ता यहां से चुनाव लड़ेगे। जिस पर एकजुट होकर लड़ाकर जिताएंगे। उन्होंने कहा कि काशीपुर की जनता को जो कांग्रेस का विधायक देखने का सूखा है इस बार उस सूखे को सब मिलकर दूर करेंगे। पूर्व सीएम ने कहा कि जिस तरीके से कांग्रेस ने पंजाब में एक दलित कार्यकर्ता को मुख्यमंत्री बनाकर नया इतिहास बनाया है, उसी प्रकार काशीपुर में भी होगा क्योंकि पूर्व में गंगा किनारे आयोजित हुए बैठक में गंगा मां से शक्ति मांगी थी कि हे गंगे माईया पंजाब जैसे उत्तराखंड में भी दलित के बेटे को मुख्यमंत्री बनाए। उन्होंने अपनी बात पर आज भी अटल रहने का दावा किया। उन्होंने लखीमपुर मामले पर कहा कि किसान और लोकतंत्र विरोधी सरकार के खिलाफ बाजपुर से कल सुबह 11 बजे से सीतापुर तक मार्च निकाला जाएगा। सीतापुर में प्रियंका गांधी को असंवैधानिक डिडेक्ट तरीके से रखा हुआ था उसके विरोध में सीतापुर तक मार्च करना वाले थे लेकिन उस मार्च को अब लखीमपुर खीरी तक लेकर जाएंगे।
उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार से मांग है कि तीन कृषि कानून को तत्काल रद्द किया जाए। इसी को लेकर किसान विरोध कर रहे हैं। लखीमपुर खीरी में किसान कृषि कानून का विरोध कर रहे थे कि इसी दौरान किसानों को कुचल कर मारा गया। यह हत्या है इसमें केंद्रीय राज्य मंत्री और उनके बेटे दोनों शामिल हैं। क्योंकि, हादसे से पहले उनकी धमकी थी कि किसानों को हम सुधार देंगे तो हमारी भी अब दो मांगे हैं कि केंद्रीय गृह मंत्री को बर्खास्त करके करके हत्यारे को गिरफ्तार किया जाए। इसके साथ ही कृषि कानून को रद्द किया जाए। लोकतंत्र से उत्तर-प्रदेश और उत्तराखंड खतरे में हैं। अब इस मार्च का उद्देश्य लोकतंत्र और किसान एवं खेती बचाना अति आवश्यक है। गुरुवार को बाजपुर से लखीमपुर खीरी तक मार्च किया जाएगा। दुर्भाग्य है कि उत्तराखंड सरकार ने किसानों को और विद्युत कर्मचारियों के साथ घोर अन्याय कर रही है। यह लोकतंत्र पर प्रहार है। जिसका उपवास करके लगाए गए रसूका का विरोध करें। लोगों से अपील है कि लोकतंत्र की हो रहे हत्या का विरोध करने के लिए समर्थन दें।
धान की कटाई शुरू हो है लेकिन क्रय केंद्र पूर्ण रूप से नहीं खोले गए हैं, जिसे तत्काल खोला जाना चाहिए। इसके साथ ही अन्य प्रदेश में गन्ने का दाम तय कर दिया गया है तो यहां पर भी तत्काल मूल्य तय किया जाए। प्रेस वार्ता के दौरान पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत अव्यवस्थाओं पर भड़क उठे। उन्होंने कहा कि यदि किसी को बुलाया जाता है तो उसका सम्मान होना चाहिए। उन्होंने कार्यकर्ताओं को नहीं बुलाया था। उनका पत्रकार वार्ता का कार्यक्रम था ,लेकिन उनके लिए जगह उपलब्ध नहीं थी इसलिए उन्होंने खुद पत्रकारों के लिए कुर्सियों की व्यवस्था की। यह बात उनको अच्छी नहीं लगी है।
Deepali Sharma
सम्पादक
खबर प्रवाह
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